कुरान - 6:32 सूरह अल-अनआम हिंदी अनुवाद, लिप्यंतरण और तफसीर (तफ्सीर).

وَمَا ٱلۡحَيَوٰةُ ٱلدُّنۡيَآ إِلَّا لَعِبٞ وَلَهۡوٞۖ وَلَلدَّارُ ٱلۡأٓخِرَةُ خَيۡرٞ لِّلَّذِينَ يَتَّقُونَۚ أَفَلَا تَعۡقِلُونَ

तथा सांसारिक जीवन खेल और मनोरंजन[25] के सिवा कुछ नहीं, तथा निश्चय आख़िरत का घर उन लोगों के लिए बेहतर[26] है जो (अल्लाह से) डरते हैं, तो क्या तुम नहीं समझते?[27]

सूरह अल-अनआम आयत 32 तफ़सीर


25. अर्थात साम्यिक और अस्थायी है। 26. अर्थात स्थायी है। 27. आयत का भावार्थ यह है कि यदि कर्मों के फल के लिए कोई दूसरा जीवन न हो, तो सांसारिक जीवन एक मनोरंजन और खेल से अधिक कुछ नहीं रह जाएगा। तो क्या यह सांसारिक व्यवस्था इसी लिए की गई है कि कुछ दिनों खेलो और फिर समाप्त हो जाए? यह बात तो समझ-बूझ का निर्णय नहीं हो सकती। अतः एक दूसरे जीवन का होना ही समझ-बूझ का निर्णय है।

Sign up for Newsletter