Quran Quote  :  What We are sending down in the course of revealing the Qur'an is a healing and a grace for those who have faith; but it adds only to the ruin of the wrong-doers. - 17:82

क़ुरआन -9:54 सूरत हिंदी अनुवाद, लिप्यंतरण और तफसीर (तफ्सीर)).

وَمَا مَنَعَهُمۡ أَن تُقۡبَلَ مِنۡهُمۡ نَفَقَٰتُهُمۡ إِلَّآ أَنَّهُمۡ كَفَرُواْ بِٱللَّهِ وَبِرَسُولِهِۦ وَلَا يَأۡتُونَ ٱلصَّلَوٰةَ إِلَّا وَهُمۡ كُسَالَىٰ وَلَا يُنفِقُونَ إِلَّا وَهُمۡ كَٰرِهُونَ,

और उनकी ख़र्च की हुई चीज़ों को स्वीकार करने से उन्हें इसके सिवा किसी चीज़ ने नहीं रोका कि उन्होंने अल्लाह और उसके रसूल के साथ कुफ़्र किया और वे नमाज़ के लिए आलसी होकर आते हैं तथा वे खर्च नहीं करते परंतु इस अवस्था में कि वे नाख़ुश होते हैं।

Surah Ayat 54 Tafsir (Commentry)


(1) مالک، داروغۂ جہنم کا نام ہے۔ (2) یعنی ہمیں موت ہی دے دے تاکہ عذاب سے جان چھوٹ جائے۔ (3) یعنی وہاں موت کہاں؟ لیکن یہ عذاب کی زندگی موت سے بھی بدتر ہوگی، تاہم اس کے بغیر چارہ بھی نہیں ہوگا۔

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